March 17, 2013

कुछ बात तो है .....

दो कच्चे  धागों  को 
जोड़ कर आपस में 
दिया जाता है जब  वट
तो हो जाते हैं मजबूत , 
हल्के से तनाव से 
नहीं जाते वे टूट ,

वैसे ही तुम और मैं 
साल दर साल 
वक़्त के साथ वट 
लगाते लगाते 
जुड़ चुके हैं इस कदर 
कि आसान नहीं है 
कोई भी  परिस्थिति 
तोड़ सके हमें  ।

कुछ बात तो है --
कि एक दूसरे से 
हैं शायद 
ढेरों शिकवे - शिकायतें 
फिर भी 
एक - दूजे के बिना 
लगता है अधूरापन । 
और इसी खयाल से 
आज के दिन 
तोहफे के रूप में 
मैं तुम्हें देती हूँ 
अपनी सारी  संवेदनाएं , 
ख्वाहिशें और  खुशियाँ ।

Posted by -Ankit Vijay at Faridabad  at 8:00 pm

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